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जौनपुर : स्वामी विवेकानंद के चरित्र को आत्मसात करें विद्यार्थी : कुलपति

जौनपुर। वीर बहादुर सिंह पूर्वांचल विश्वविद्यालय परिसर में स्वामी विवेकानंद का विश्व धर्म सम्मेलन शिकागो में दिए संबोधन की 125वीं वर्षगांठ पर जनसंचार विभाग में विचार गोष्ठी आयोजित की गई। इसके पूर्व सरस्वती सदन में विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. डॉ. राजाराम यादव ने अनुप्रयुक्त सामाजिक विज्ञान एवं मानविकी संकाय के विद्यार्थियों को स्वामी विवेकानंद पर केंद्रित पुस्तक व्यक्तित्व का विकास वितरित किया। उन्होंने कहा कि स्वामी विवेकानंद आज से 125 वर्ष पूर्व विश्वबंधुत्व की छवि को पूरे विश्व के सामने प्रस्तुत किया था। विद्यार्थियों को स्वामी जी के चरित्र को आत्मसात करना चाहिए। 
संकाय अध्यक्ष डॉ. मनोज मिश्र ने कहा कि स्वामी विवेकानंद हर युवा के लिए प्रेरणा रुाोत हैं। शिकागो संबोधन से स्वामी जी ने पूरे दुनिया के लोगों को अपना मुरीद बना लिया। आज के दौर में स्वामी जी द्वारा कही गई बातें उतनी ही प्रासंगिक है जितनी उस समय थीं। जनसंचार विभाग के शिक्षक डॉ. सुनील कुमार ने स्वामी विवेकानंद के कृतित्व व व्यक्तित्व पर प्रकाश डाला। संयोजक डॉ. दिग्विजय सिंह राठौर ने विद्यार्थियों को स्वामी जी के शिकागो में दिए संबोधन की पढ़कर सुनाया। विचार गोष्ठी में आदित्य, सौम्या, महेंद्र, बलराम एवं सुरेश ने भी अपने विचार व्यक्त किये। विवेकानंद केंद्रीय पुस्तकालय परिसर में स्वामी विवेकानंद की प्रतिमा पर शिक्षकों एवं विद्यार्थियों ने माल्यार्पण किया। कार्यक्रम में वित्त अधिकारी एमके सिंह, प्रो. मानस पांडेय, डॉ. केएस तोमर, डॉ. जान्हवी श्रीवास्तव, अन्नू त्यागी, डॉ. मनोज पांडेय आदि मौजूद रहे।

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