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सुरेरी : पत्नी, पुत्र की गिरफ्तारी से सदमे में आये अधेड़ की मौत

सुरेरी, जौनपुर। स्थानीय पुलिस ने मंगलवार की सुबह दहेज हत्या के मामले में एक महिला और उसके बेटे को गिरफ्तार कर लिया। इसके सदमे में बुधवार को अधेड़ की मौत हो गयी।
गौरतलब हो कि स्थानीय थाना क्षेत्र के स्थानीय गांव निवासी गोपाल यादव (54) अपने दो पुत्रों रामफेर उर्फ मोनू व राम अवध यादव और अपनी पत्नी कृष्णावती के साथ घर पर ही रहते थे। उनकी माली हालत अच्छी ना होने के कारण किसी तरह से जीविकोपार्जन का कार्य चलता था। इसी बीच लगभग छह वर्ष पूर्व उन्होंने अपने छोटे पुत्र रामफेर उर्फ मोनू की शादी रामपुर थाना क्षेत्र के राजापुर गांव निवासी मुन्नर यादव की पुत्री संगीता से कर दी। शादी के बाद से ही सब कुछ ठीक-ठाक चल रहा था इसी बीच संगीता को दो बच्चे भी पैदा हुए जिसमें बड़ा पुत्र सत्यम ढाई वर्ष, आठ माह की पुत्री काजल हैं। ससुरालवालों के अनुसार पाँच माह पूर्व संगीता के पेट में तेज दर्द होने के कारण उनकी मौत हो गई जबकि मायके पक्ष के लोगों ने दहेज हत्या करने का आरोप लगाते हुए संगीता के ससुर गोपाल यादव, सास कृष्णवती और पति रामफेर उर्फ मोनू के ऊपर दहेज हत्या का आरोप लगाया था। 
मंगलवार की सुबह सुरेरी पुलिस ने मृतक की सास कृष्णावती व पति रामकेश उर्फ मोनू को गिरफ्तार करके जेल भेज दिया। जिसके सदमे को लेकर गोपाल यादव की मंगलवार की देर रात मौत हो गई। बुधवार की सुबह जब गांव सहित पास-पड़ोस, रिश्तेदारों को सूचना मिली तो मृतक के घर पर भीड़ इकट्ठा हो गई। वहीं मृतक के साले शोभनाथ यादव की मानें तो मृतक का बड़ा लड़का राम अवध मानसिक रुप से ठीक नहीं हैं। घर में मोनू ही इकलौता एक सहारा था जो परिवार को चलाता था उसे और उसकी मां को जेल जाने के बाद गोपाल यादव अपने मंदबुद्धि पुत्र की देख-रेख की चिंता को लेकर सदमे के कारण उनकी मौत हो गई। वहीं रिश्तेदारों का यह भी आरोप हैं कि मौके पर पहुंची पुलिस ने कागज पर यह लिखकर हस्ताक्षर करवाया कि मृतक की मौत सदमे से नहीं बीमारी के चलते हुई हैं जबकि मृतक पूर्ण रुप से स्वस्थ था। वहीं सूचना पर पहुंची पुलिस ने शव का पंचनामा कर परिजनों को सौंप दिया। वहीं ग्राम प्रधान रमाशंकर पाल की मानें तो गिरफ्तार सास और पति अपने दो मासूम बच्चों को भी साथ जेल लेकर गये हैं क्योंकि घर पर उन बच्चों का परवरिश करने वाला कोई नहीं हैं। वहीं गोपाल यादव की मौत के बाद उसका एक मंदबुद्धि पुत्र राम अवध ही बचा है अब उसका देख-रेख कौन करेगा?
इस संदर्भ में थानाध्यक्ष सुरेरी मदनलाल ने बताया कि दहेज हत्या के मामले में तीन नामजद आरोपी थे जिसमें दो लोगों की गिरफ्तारी कर ली गई थी। वहीं यह पूछे जाने पर कि तीसरे आरोपी की गिरफ्तारी क्यों नहीं की गई उस पर उन्होंने बताया कि तीसरे आरोपी की बीमारी के कारण गिरफ्तारी नहीं की गई।


  

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